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Wednesday, January 11, 2012
मत ढाको !
ढकी जा रही है
सैकड़ों हाथी की मूर्तियाँ
सरकारी काम जो है
उधर शीतलहरी में
बिना पर्याप्त कपड़ों में
ठिठुर कर मर गए
कई ग़रीब आदमी
जो शायद वोटर भी होते
लोक-तंत्र के ....
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बहुत महत्वपूर्ण सवाल आपने उठाया है।
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